केरल. हाल ही में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यकर्ता ए. संजीत की लक्षित हत्या बहुत दुर्भाग्यपूर्ण और अत्यंत निंदनीय है. हम आतंक के इस कृत्य की कड़ी निंदा करते हैं और मृतक के परिवार के साथ मजबूती से खड़े हैं. यह बहुत ही दयनीय है कि केरल की लोकतांत्रिक रूप से चुनी गई राज्य सरकार इस तरह की लक्षित हत्याओं को रोकने में विफल रही है. चूंकि यह पिछले अनुभवों से स्पष्ट है कि स्वयंसेवकों की लक्षित हत्या में सत्तारूढ़ सीपीएम और इस्लामी ताकतों के बीच एक गुप्त समझौता है, हम इस मामले में निष्पक्ष जांच की मांग करते हैं और हिंसा के अपराधियों को जल्द से जल्द दंडित किया जाना चाहिए. हम केंद्र सरकार से मांग करते हैं कि अगर सीपीएम सरकार के तहत न्याय नहीं दिया जाता है तो वह इस मामले में हस्तक्षेप करे. हम संजीत की हत्या की विस्तृत एनआईए जांच की भी मांग करते हैं क्योंकि अपराधियों के आतंकवादी संबंध हैं. हम राज्य और केंद्र सरकार दोनों से पीएफआई के आतंकवादी कनेक्शन और राष्ट्र विरोधी गतिविधियों की जांच करने और इस आतंकवादी संगठन पर प्रतिबंध लगाने का आग्रह करते हैं जो समाज में सांप्रदायिक सद्भाव और शांति को नष्ट करने के एकमात्र उद्देश्य से काम करता है.
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सह सरकार्यवाह डॉ. मनमोहन वैद्य संजीत के परिजनों से मिले तथा संवेदना प्रकट की. इस अवसर पर उन्होंने यह प्रतिक्रिया दी.
उल्लेखनीय है कि केरल के पलक्कड़ में सोमवार सुबह संघ के 27 वर्षीय कार्यकर्ता संजीत की हत्या कर दी गई थी. अपराधियों ने संजीत की हत्या उनकी पत्नी के सामने ही चाकुओं से गोदकर कर दी. उनके शरीर पर 50 से ज्यादा घाव मिले थे. इस घटना के समय वह अपनी पत्नी को छोड़ने जा रहा थे.
पुलिस के अनुसार, संजीत पत्नी को ऑफिस छोड़ने जा रहे थे. संजीत की बाइक को कार में सवार आरोपियों ने पहले टक्कर मारी. इसके बाद कार से उतरकर 50 से ज्यादा बार चाकू और नुकीले हथियारों से उन पर हमला किया.