प्रन्यासी मण्डल व प्रबंध समिति बैठक में धर्मांतरण कानून, मंदिरों को सरकारी नियंत्रण से मुक्त करवाने पर होगी चर्चा – मिलिंद परांडे

जूनागढ़. विश्व भर के हिन्दुओं के समक्ष आ रही विविध समस्याओं व सामाजिक, धार्मिक और सांस्कृतिक मानबिन्दुओं तथा आस्था के केंद्रों पर हो रहे अनवरत हमलों को रोक एक संस्कारवान, सबल, स्वावलंबी व धर्मनिष्ठ हिन्दू समाज की पुनः प्रतिष्ठा हेतु विश्व हिन्दू परिषद ने कमर कस ली है. इस हेतु विहिप के केन्द्रीय प्रन्यासी मण्डल व प्रबंध समिति की 3 दिवसीय बैठक गुजरात के जूनागढ़ में 24 दिसंबर से प्रारंभ होगी. बैठक की कार्यसूची की जानकारी देते हुए विश्व हिन्दू परिषद के केन्द्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने कहा कि देश में पर्यावरण संरक्षण, मंदिरों की सरकारी अधिग्रहण से मुक्ति, धर्मांतरण के विरुद्ध कठोर केन्द्रीय कानून तथा समाज में हो रहे संस्कारों के अवमूल्यन को रोकने हेतु गहन चिंतन होगा. 2024 में विश्व हिन्दू परिषद की स्थापना को 60 वर्ष पूरे हो रहे हैं. षष्टि पूर्ति वर्ष तक संगठन के कार्यविस्तार की योजना पर भी विचार मंथन होगा.


जूनागढ़ के उतारा विभाग में जवाहर रोड स्थित श्री स्वामीनारायण स्वर्ण मंदिर के भव्य प्रांगण में होने वाली महत्त्वपूर्ण बैठक में विहिप अध्यक्ष पद्म श्री डॉ. आर एन सिंह, कार्याध्यक्ष आलोक कुमार सहित प्रांतीय, क्षेत्रीय व केन्द्रीय पदाधिकारी भाग लेंगे. भारत के बाहर से भी अनेक देशों में चल रहे संगठन के कार्यों की जानकारी लेकर वहाँ के पदाधिकारी भी जूनागढ़ पहुँच रहे हैं.
बैठक में प्रतिनिधियों द्वारा विविध क्षेत्रों में चल रही संगठन की गतिविधियों, समाज के समक्ष आ रही चुनौतियों तथा उनके समाधान हेतु गंभीरता से विचार मंथन होगा. इसमें पाकिस्तान व बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिन्दू, सिक्ख समुदाय पर हो रहे अनवरत हमलों के विषय में भी चर्चा होगी.

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